ब्यूरो नेटवर्क
पंचायत सहायक नियुक्ति प्रक्रिया को लेकर जिला प्रशासन पूर्ण पारदर्शिता बरत रहा है। हरदोई जिले में सीडीओ की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में ग्राम पंचायत स्तर पर तैयार की गई मेरिट लिस्ट को ग्राम पंचायत कार्यालयों के साथ ही ब्लॉक कार्यालयों पर भी चिपकाने के करने के निर्देश दिए गए।
हरदोई की सीडीओ आकांक्षा राना ने बताया किसी भी प्रकार की कोई गड़बड़ी होने पर बीडीओ, सहायक विकास अधिकारी पंचायत अथवा एडीओ आईएसबी के पास आपत्ति दर्ज करवा सकता है। आपत्तियां आज पांच सितंबर को शाम पांच बजे तक ही दर्ज करवाई जाएंगी। आपत्तियों के परीक्षण के उपरांत ही चयन प्रक्रिया आगे बढ़ाई जाएगी। सीडीओ ने बताया इससे पूर्व सभी ब्लॉकों से आई मेरिट लिस्ट का परीक्षण डीएम की ओर से नामित कमेटी के अधिकारियों व सभी ब्लॉकों के एडीओ पंचायत की मौजूदगी में करवाया गया। इस दौरान जिला कृषि अधिकारी, उपनिदेशक कृषि, सहायक अभियंता डीआरडीए, सहायक आयुक्त-सहायक निबंधक सहकारिता व डीपीआरओ गिरीश कुमार मौजूद रहे।
खुली बैठक में भी चर्चा :
सिद्धार्थनगर जिले के खुनियांव क्षेत्र के ग्राम पंचायत पड़री में पंचायत सहायक चयन के लिए सोमवार को राजस्व गांव सड़वा के प्राथमिक विद्यालय में ग्राम पंचायत की खुली बैठक हुई। पंचायत सहायक के लिए आए आवेदन पत्रों पर चर्चा की गई और मेरिट व वरीयता क्रम को आधार में रखकर ग्रामीणों की राय भी जानी गई।पंचायत सहायक के चयन को लेकर ग्राम पंचायत की ओर से प्रस्ताव तैयार किए गए। बैठक में ग्राम पंचायत सचिव पीयूष पाण्डेय ने बताया बैठक के आधार जो प्रस्ताव तैयार हुआ है उसे उच्च अधिकारियों को प्रेषित किया जाएगा। इसके बाद चयन कमेटी इस पर अपना निर्णय करेगी।
सीएम से भर्ती में अनियमितता की शिकायत:
रविवार को जब गोरखपुर में मुख्यमंत्री जनता दरबार में लोगों की समस्याएं सुन रहे थे। तभी गोरखपुर जिले के गुलरिहा सरहरी के रहने वाले राकेश कुमार जायसवाल ने ग्राम पंचायत सहायक में होने वाली भर्ती में हेराफेरी का गंभीर आरोप लगाए। कहा कि उनके पिता की कोरोना संक्रमण से मौत हो गई थी। उसके बाद भी उनका नाम चयन सूची से बाहर कर दिया गया। सीएम योगी मौजूद अधिकारियों को तत्काल कार्रवाई का निर्देश दिए।
रामपुर जिले भी गड़बड़ी का लगा आरोप:
ग्राम पंचायत भर्ती प्रक्रिया में रामपुर जिले के चमरौवा विकास खंड क्षेत्र के प्रधानों ने पंचायतीराज विभाग पर शासनादेशों की अनदेखी करने का आरोप लगाया है।चमरौवा विकास खंड क्षेत्र के प्रधानों ने बैठक करते हुए इस पर नाराजगी जाहिर की है। प्रधानों ने कहा कि शासनादेश के अनुसार पंचायत सहायकों की भर्ती हेतु आवेदन पत्र जमा करने हेतु डीपीआरओ कार्यालय, विकासखंड चमरौआ एवं ग्राम प्रधान के पास जमा किए जाने थे, लेकिन पंचायत सचिवों द्वारा ग्राम प्रधानों को सूचित किए बिना ही आवेदनों पर अग्रिम प्रक्रिया शुरू कर दी गई और मेरिट लिस्ट बनाकर व्यक्तिगत तौर से आवेदकों को सूचना दी जा रही है। कहा कि ग्राम प्रधानों को साथ लिए बिना इस प्रकार की कार्यवाही संदेह की स्थिति उत्पन्न कर रही है। मुख्य रूप से ग्राम प्रधानों ग्राम समितियों की अनदेखी रोष का कारण बन रही है। इस संबंध में जिलाधिकारी को ज्ञापन दिया जाएगा।
ग्राम पंचायत सदस्य अपनों के लिए दे रहे इस्तीफा:
इसमें शासन ने विभिन्न शर्तों को रखा है, मुख्य रूप से ग्राम प्रधान एवं पंचायत सदस्यों के परिवार के लोग इसमें आवेदन नहीं कर सकेंगे और जिस आरक्षण से प्रधान बना है उसी के आरक्षण का पंचायत सहायक नियुक्त किया जाएगा। मगर इसमें कुछ ग्राम पंचायत सदस्यों के परिजनों ने भी आवेदन किया है और जब उन्हें नियम के बारे में पता चला तो उन्होंने अब अपने सदस्य के त्यागपत्र से पंचायत राज विभाग को इस्तीफे के लिए प्रार्थना पत्र भेज दिए हैं। इसमें डिबाई ब्लॉक की ऊंचागांव बांगर, गंगापुर, घुसराना गैल और बढ़नापुर कला से पंचायत सदस्यों ने शपथ पत्र के साथ इस्तीफे सौंपे हैं। हालांकि विभाग ने अभी तक इन्हें स्वीकार नहीं किया है। प्रधान संगठन एवं पंचायत सदस्य इस नियम को वापस लेने की मांग भी उठा रहे हैं। डीपीआरओ ने बताया कि जिन सदस्यों के इस्तीफे आए हैं, उन्होंने पंचायत सहायक भर्ती के चलते पद से त्याग पत्र देने का हवाला किया है। विभाग जांच के बाद ही इस्तीफों को स्वीकार करेगा।