ब्यूरो,
लखनऊ – हज़रातगंज थाने के मालखाने से लाखों के माल का गबन।
डिब्बे मे रखे सोने-चांदी के जेवरात समेत लाखों का कैश और विदेशी करेंसी गायब।
कैंसर से 2 साल पहले जान गवाने वाले हेड कांस्टेबल पर इंस्पेक्टर ने दर्ज कराई अपने थाने में एफआईआर।
हज़रतगंज थाने के SHO विक्रम सिंह ने 9 नवंबर को हज़रतगंज कोतवाली मे दर्ज कराई मृत हेड कांस्टेबल प्रिय कुमार त्रिपाठी पर एफआईआर।
लाखों के माल गबन को लेकर अफसरों ने बचाई अपनी गर्दन।
दिसंबर 2022 मे कैंसर से पीड़ित हेड कांस्टेबल प्रिय कुमार त्रिपाठी की हो चुकी थी मौत।
हज़रतगंज कोतवाली मे 2019 से लेकर दिसंबर 2022 तक प्रिय कुमार त्रिपाठी मालखाना इंचार्ज थे।
मालखाना इंचार्ज प्रिय कुमार त्रिपाठी की मौत के बाद माल गायब होने के चलते मालखाने को सील कर दिया गया था।
थाने से माल-मुकदमाती कोर्ट ना भेजनें पर अलग-अलग समस्याये आने लगी थी।
मृत हेड कांस्टेबल प्रिय कुमार त्रिपाठी की तैनाती के दौरान गायब हुआ माल।
उससे पहले भी हज़रतगंज थाने मे माल गबन को लेकर तत्कालीन SHO राधारमण सिंह ने मालखाना इंचार्ज अशोक यादव पर गबन की दर्ज कराई थी 29 मार्च 2019 को एफआईआर।
10 लाख के गबन का आरोप लगने और FIR दर्ज होने के बाद मालखाना इंचार्ज अशोक यादव को गिरफ्तार कर भेजा गया था जेल।
अशोक यादव के अधीनस्थ प्रिय कुमार त्रिपाठी को दे दी गयी थी मालखाने की ज़िम्मेदारी।
IPC की धारा 409 के तहत हज़रतगंज कोतवाली मे इंस्पेक्टर ने दर्ज कराई एफआईआर।।