उत्तराखंड में शनिवार की सुबह कोरोना के लिहाज से बहुत ही ज्यादा दुखद रहा। प्रदेशभर में आज रिकॉर्ड 20 मरीजों में कोरोना वायरस की पुष्टि हो गई है। सभी संक्रमित प्रवासी हैं और बाहरी राज्य से प्रदेश में आए हैं।
स्वास्थ्य विभाग की ओर से जारी हेल्थ बुलेटिन के अनुसार, चम्पावत जिले में सात, अल्मोड़ा और उत्तरकाशी जिले में तीन-तीन, देहरादून,नैनीताल और पिथौरागढ़ जिले में दो-दो और हरिद्वार में एक व्यक्ति में कोरोना वायरस मिला है। प्रदेश के गढ़वाल व कुमाऊं मंडल में एक ही दिन में रिकॉर्ड 20 मरीजों के मिलने के बाद अब प्रदेश में कोविड-19 मरीजों की संख्या 153 से बढ़कर 173 हो गई है। एक ही दिन में इतनी बड़ी संख्या में मरीजों के सामने के बाद स्वास्थ्य विभाग और प्रशासन भी हरकत में आ गया है। संक्रमितों के संपर्क में आए लोगों की पहचान करना शुरू कर दिया है। संक्रमितों की पहचान कर अब संदिग्धों को क्वारंटान किया जाएगा।
गौरतलब है कि इससे पहले रिकॉर्ड 19 कोरोना के मरीज 21 मई को सामने आए थे, जिसमें टिहरी में 6, हरिद्वार में 1, उत्तरकाशी में 2, यूएस नगर में 4, अल्मोड़ा में 1, नैनीताल में 2, देहरादून में 2 और एक एम्स में भर्ती बिजनौर का मरीज। वहीं दूसरी ओर, चंपावत जिले के बनबसा में सात प्रवासियों में कोरोना वायरस की पुष्टि हो गई है। चंपावत जिले में इतनी बड़ी संख्या में संक्रमितों के मिलने के बाद स्वास्थ्य विभाग हरकत में आ गया है। चंपावत जिले में सात लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि होने से लोगों में खलबली मची हुई है। संक्रमितों में तीन लोग बनबसा जबकि दो-दो लोग चंपावत और लोहाघाट के निवासी हैं।सभी सात लोगों को एसटीएच में क्वारन्टीन के लिए भेजा जा रहा है।सीएमओ डॉ आरपी खंडूरी ने बताया कि ये लोग 21 मई को मुंबई, चंडीगढ़ और गुरुग्राम से टनकपुर-बनबसा पहुंचे थे। गरुवार को टनकपुर से 39 लोगों के सैम्पल जांच के लिए एसटीएच लैब भेजे गए थे। शुक्रवार देर रात आई रिपोर्ट में सात लोग कोरोना संक्रमित पाए गए। प्रशासन अब संक्रमितों की ट्रैवल हिस्ट्री खंगालने में जुट गई है।
अपर सचिव स्वास्थ्य युगल किशोर पंत ने बताया कि राज्य में अभी कोरोना की वजह से किसी भी मरीज की मौत नहीं हुई है। उन्होंने कहा कि शुक्रवार रात को एक कोरोना पॉजिटिव मरीज की एम्स ऋषिकेश में मौत हुई लेकिन मरीज की मौत का कारण कैंसर रहा है। उन्होंने कहा कि इससे पहले भी एक कोरोना पॉजिटिव मरीज की एम्स में मौत हुई थी लेकिन उसकी मौत का कारण भी ब्रेन स्टोक था। उन्होंने साफ किया कि राज्य में कोरोना की वजह से किसी मरीज की मौत नहीं हुई है।उन्होंने कहा कि राज्य में कोरोना का कोई भी मरीज गंभीर स्थिति में नहीं है। न किसी को आईसीयू और न वेंटीलेटर की जरूरत है।