ब्यूरो,
यह तस्वीर खालवा ब्लॉक के घुटीघाट गांव के पास की है। 40 से 45 डिग्री तापमान में 3 किलोमीटर तक रेतीली और पथरीली जमीन पर चलना, ऊपर से धूलभरी हवा के थपेड़ों को सहन करना इस गांव के लोगों की मजबूरी बन गई है। क्योंकि यह जल के लिए जंग है।
मध्यप्रदेश और महाराष्ट्र के बीच बहने वाली ताप्ती नदी ही इन लोगों के लिए पानी का एकमात्र स्रोत है। गर्मी आते ही यहां के हैंडपंप सूख गए हैं। इसलिए मजबूरन लोग बैलगाड़ी, पैदल ताप्ती नदी पर पहुंचते हैं और यहीं पर नहाना-कपड़े धोना कर पानी भरकर घर ले जाते हैं।
👆👆Save water.👆👆