दिल्ली हाईकोर्ट ने किसान आंदोलन के खिलाफ दायर PIL ठुकराई

केंद्र के तीन नए कृषि कानूनों को लेकर गतिरोध अब भी बरकरार है। कानूनों को रद्द कराने पर अड़े किसान इस मुद्दे पर सरकार के साथ आर-पार की लड़ाई का ऐलान कर चुके हैं। इसके लिए दिल्ली की सीमाओं पर किसानों का आंदोलन आज 22वें दिन भी जारी है। किसानों ने सरकार से जल्द उनकी मांगें मानने की अपील की है। वहीं सरकार की तरफ से यह साफ कर दिया गया है कि कानून वापस नहीं होगा, लेकिन संशोधन संभव है। 

वहीं, कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली में सिंघु बॉर्डर के निकट प्रदर्शन कर रहे किसानों का समर्थन करते हुए करनाल जिले के निसिंग इलाके के सिंघरा गांव के रहने वाले एक सिख संत राम सिंह (65) ने बुधवार शाम को कथित रूप से खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली थी। पुलिस ने कहा कि मृतक संत राम सिंह ने कथित रूप से पंजाबी भाषा में हाथ से लिखा एक सुसाइड नोट भी छोड़ा है, जिसमें कहा गया है कि वह किसानों का दर्द सहन नहीं कर पा रहे हैं। पुलिस इस मामले की जांच कर रही है।

इस घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि मोदी सरकार को जिद छोड़कर कानूनों के वापस ले लेना चाहिए। राहुल गांधी ने ट्वीट कर कहा कि करनाल के संत बाबा राम सिंह जी ने किसानों की दुर्दशा देखकर आत्महत्या कर ली। इस दुख की घड़ी में मेरी संवेदनाएं और श्रद्धांजलि। उन्होंने कहा कि कई किसान अपने जीवन की आहुति दे चुके हैं। मोदी सरकार की क्रूरता हर हद पार कर चुकी है। जिद छोड़ो और तुरंत कृषि विरोधी कानून वापस लो!

वही, शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि वह संत की आत्महत्या की खबर सुनकर आक्रोशित हैं। उन्होंने कहा कि संत जी का बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा। मैं भारत सरकार से अनुरोध करता हूं कि हालात और बिगड़ने न दे और तीन कृषि कानूनों के निरस्त कर दे। 

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट कर कहा कि संत बाबा राम सिंह जी की आत्महत्या की खबर बेहद पीड़ादाई है। इस दुख की घड़ी में उनके परिवार के प्रति संवेदनाएं। हमारा किसान अपना हक़ ही तो मांग रहा है, सरकार को किसानों की आवाज सुननी चाहिए और तीनों काले कानून वापस लेने चाहिए।

Live Updates :- 

– दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर चल रहे किसानों के प्रदर्शन से संबंधित जनहित याचिका पर विचार करने से इनकार कर दिया। हाईकोर्ट ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट पहले से ही इस तरह के मामले की सुनवाई कर रहा है। दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे फ्लाईओवर पर किसानों का धरना शुरू। अभी खाप से जुड़े लोग धरने में नहीं पहुंचे हैं। 12 बजे के बाद भीड़ बढ़ने के आसार हैं।नोएडा : कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे किसानों के विरोध प्रदर्शन को देखते हुए दिल्ली-नोएडा को जोड़ने वाले चिल्ला बॉर्डर पर सुरक्षा बल तैनात हैं।

सिंघु बॉर्डर : सुप्रीम कोर्ट में आज किसानों को बॉर्डर से हटाने की याचिका पर सुनवाई होनी है। भारतीय किसान यूनियन दोआबा के प्रदेश अध्यक्ष मंजीत सिंह ने कहा कि हमें सुप्रीम कोर्ट से कोई नोटिस नहीं मिला है। जब हमें नोटिस मिलेगा, तो सभी किसान यूनियन एक चर्चा करेंगे और निर्णय लेंगे। दिल्ली की सीमाओं से प्रदर्शनकारियों को हटाने की मांग वाली याचिकाओं में सुप्रीम कोर्ट ने 8 किसान यूनियनों को जवाब देने की अनुमति दी है।

गाजीपुर बॉर्डर पर कृषि कानूनों को लेकर आज होने वाली खाप पंचायत के लिए तैयारी शुरू। मंच तैयार करने में जुटे किसान संगठनों से जुड़े कार्यकर्ता।

– दिल्ली :कृषि कानूनों के खिलाफ टिकरी बॉर्डर पर किसान प्रदर्शनकारी डटे हुए हैं। एक प्रदर्शनकारी ने कहा कि हमने सरकार से ये कानून नहीं मांगे थे, हम सरकार से मांगते हैं कि हमारी फसल का दाम बढ़ाओ, वो बढ़ाते नहीं हैं।दिल्ली : सिंघु बॉर्डर पर कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे किसानों ने बढ़ती ठंड से बचने के लिए गैस हीटर लगाए हैं। एक प्रदर्शनकारी ने बताया कि लोग लकड़ी जलाकर अपना काम चला रहे हैं। किसान नेताओं ने कुछ हीटर मंगाए हैं, लेकिन ये गैस से चलते हैं, इनमें खर्चा है। हाल ही बनाए गए तीन नए कृषि कानूनों – द प्रोड्यूसर्स ट्रेड एंड कॉमर्स (प्रमोशन एंड फैसिलिटेशन) एक्ट, 2020, द फार्मर्स ( एम्पावरमेंट एंड प्रोटेक्शन) एग्रीमेंट ऑन प्राइस एश्योरेंस एंड फार्म सर्विसेज एक्ट, 2020 और द एसेंशियल कमोडिटीज (एमेंडमेंट) एक्ट, 2020 का किसान  विरोध कर रहे हैं।

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