Alok Verma, Jaunpur Beauro,
शिक्षामित्रों की समस्याओं को लेकर दिया धरना—प्रदर्शन
मुख्यमंत्री के नाम सम्बोधित मांगों का ज्ञापन जिलाधिकारी को सौंपा गया
जौनपुर। उत्तर प्रदेश के प्राथमिक विद्यालयों में विगत 23 वर्षों से शिक्षण कार्य कर रहे शिक्षामित्रों जो स्नातक बीटीसी उत्तीर्ण हैं, को महंमाई के इस दौर में 11 माह का ही मानदेय मिल रहा है जिससे शिक्षामित्रों के परिवार का पालन पोषण नहीं ही पा रहा है। इस कारण उत्तर प्रदेश के शिक्षामित्र आर्थिक एवं मानसिक रूप से परेशान होकर आत्महत्या जैसे प्राणघातक कदम उठा रहे हैं। उक्त बातें उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षामित्र संघ के जिलाध्यक्ष संदीप यादव ने कलेक्टेट में आयोजित धरना—प्रदर्शन के दौरान कही।
साथ ही आगे बताया कि प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा के निर्देशन में निदेशक की अध्यक्षता में एक कमेटी का गठन 14 नवबर 2023 में किया गया था। उक्त कमेटी ने कई बैठक करने के उपरांत अपना प्रस्ताव शासन को भेजा था। उसके बाद की प्रक्रिया आदर्श चुनाव संहिता लागू होने से रुक गई थी। शासन में कमेटी द्वारा भेजे गए प्रस्ताव को शीघ्र लागू करें जिससे शिक्षामित्रों की निम्नलिखित समस्याओं का समाधान हो सके।
इस दौरान उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति में शिक्षामित्रों को स्थाई करते हुए नियमित वेतनमान दिया जाय। वर्तमान में महंगाई को देखते हुए नियमितीकरण होने तक अन्य राज्यों (राजस्थान, उत्तराखंड, हरियाणा, बिहार) की भांति शिक्षामित्रों को वेतन मानदेय दिया जाय। मूल विद्यालय से वंचित शिक्षामित्रों को पुनः मूल विद्यालय उनकी ग्राम पंचायत के अन्य विद्यालय में समायोजित करने की अनुमति प्रदान करें। महिला शिक्षामित्रों को विवाहोपरांत उनकी ससुराल के जनपद में समायोजित किया जाय। शिक्षामित्रों को इ०पी०एफ० योजना में शामिल किया जाय। शिक्षामित्रों को आयुष्मान योजना में शामिल करते हुए मेडिकल सुविधा प्रदान की जाय। मृतक शिक्षामित्रों के परिवार को आर्थिक सहायता देते हुए परिवार के एक सदस्य को उक्त पद पर समायोजित किया जाय।
इस अवसर पर संदीप यादव, छोटे लाल गौतम, दिनेश गौतम, ओमकार भारती, उषा देवी, योगेश यादव, अनिल चौधरी, रामचन्द्र राम, राजेश यादव, संगीता यादव, सविता मौर्या, रेनू मौर्या, संगीता देवी, पुष्पा देवी, रेनू देवी, शालिनी राय, चांदनी राय, माण्डवी सिंह सहित तमाम लोग उपस्थित रहे।