राम मंदिर निर्माण समिति के चेयरमैन नृपेंद्र मिश्रा ने कहा कि इस साल के अंत तक श्रद्धालु गर्भगृह में रामलला के दर्शन कर सकेंगे। पूरा मंदिर दिसंबर 2025 तक बनकर तैयार होगा।
रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की निर्माण समिति के चेयरमैन नृपेंद्र मिश्रा ने कहा है कि अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण का पहला चरण इस साल 30 दिसंबर तक पूरा हो जाएगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रधान सचिव रह चुके मिश्रा ने कहा कि मंदिर का निर्माण तीन चरणों में हो रहा है और श्रद्धालु पहले चरण का काम पूरा होने के बाद मंदिर में प्रवेश कर सकेंगे।
उन्होंने कहा कि भूतल पर अन्य कार्यों के अलावा पहले चरण में पांच मंडप का निर्माण कार्य पूरा किया जाएगा। उन्होंने कहा कि ट्रस्ट ने फैसला लिया है कि राम मंदिर के पहले चरण का काम 30 दिसंबर तक पूरा हो जाना चाहिए। पांच मंडपों के निर्माण में करीब 160 खंभे लगे हैं। उन्होंने कहा कि उनमें आइकॉनोग्राफी (विजुअल इमेज और सिंबल) का काम पूरा किया जाए।
पहले चरण में मंदिर के निचले चबूतरे पर भगवान राम का संक्षिप्त वर्णन शुरू होगा और बिजली व अन्य सुविधाएं पूरी की जाएंगी। ये सभी काम 30 दिसंबर तक पूरे हो जाएंगे। उन्होंने कहा कि परकोटा (बाहरी परिधि) सहित मंदिर की पहली और दूसरी मंजिल का काम अगले साल 30 दिसंबर तक पूरा हो जाएगा। साथ ही उन्होंने कहा कि मंदिर मूर्ति की स्थापना की जाएगी और इस साल के अंत तक श्रद्घालु दर्शन कर सकेंगे। संपूर्ण मंदिर कब तक बन कर तैयार होगा, के सवाल पर मिश्रा ने कहा कि मंदिर दिसंबर 2025 तक तैयार हो जाएगा।
उन्होंने कहा कि चेयरमैन होने के नाते उनकी कोशिश है कि 30 दिसंबर 2023 तक भक्त अपने प्रभु के दर्शन कर सकें। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने हाल ही में एलान किया था कि राम मंदिर भक्तों के लिए अगले साल एक दिसंबर को खोल दिया जाएगा। मंदिर निर्माण पर आने वाली लागत पर उन्होंने कहा कि राम मंदिर निर्माण पर 1400 करोड़ से लेकर 1800 करोड़ रुपये का खर्च आएगा। भूतल के निर्माण में न्यूनतम 300 करोड़ खर्च होंगे।