ब्यूरो,
पाकिस्तान को आर्थिक संकट से उबारने की कोशिशों में लगे इमरान खान की मुश्किलें कम होती नजर नहीं आ रही हैं। आईएसआई चीफ की नियुक्ति को लेकर आर्मी चीफ बाजवा संग तकरार के बीच इमरान खान को एक और बड़ा झटका लगा है। पीएमएल-क्यू ने इमरान खान की पार्टी से अलग होने का फैसला किया है। पाकिस्तान मुस्लिम लीग-कायद (पीएमएल-क्यू) के सांसदों ने कहा कि प्रधानमंत्री इमरान खान के नेतृत्व वाली पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के साथ साझेदारी जारी रखना मुश्किल हो गया है। उन्होंने पीटीआई से अलग होने का फैसला किया।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, पीएमएल-क्यू केंद्र और पंजाब में पीटीआई की एक प्रमुख सहयोगी है और उसने अगले आम चुनावों के लिए अलग होने और अपना अभियान शुरू करने का फैसला किया है। यह घोषणा पीएमएल-क्यू के संसदीय दल की पंजाब अध्यक्ष चौधरी परवेज इलाही की अध्यक्षता में हुई बैठक के बाद की गई, जो प्रांतीय विधानसभा के अध्यक्ष भी हैं।
रिपोर्ट के मुताबिक पीएमएल-क्यू नेताओं ने पेट्रोलियम उत्पादों और ऊर्जा शुल्क की कीमतों में अभूतपूर्व वृद्धि के साथ-साथ स्थानीय मुद्रा के मूल्यह्रास पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने देश में अपराधों और उच्च स्तर की बेरोजगारी पर लगाम लगाने में विफल रहने के लिए पीटीआई सरकार की भी आलोचना की।
गौरतलब है कि पिछले कुछ समय से पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान खान लगातार कमजोर पड़ रहे हैं। कमजोर अर्थव्यवस्था, बढ़ते कर्ज और महंगाई के चलते उनके नेतृत्व पर सवाल उठे हैं। 20 नवंबर को लेफ्टिनेंट जनरल नदीम अंजुम आईएसआई के डीजी का पद संभालने जा रहे हैं। इसी को लेकर इमरान खान और आर्मी चीफ बाजवा के बीच तकरार है। एक ओर जहां बाजवा नदीम अंजुम को आईएसआई प्रमुख बनाना चाहते हैं, जबकि प्रधानमंत्री इमरान खान चाहते हैं कि वर्तमान आईएसआई मुखिया लेफ्टिनेंट जनरल फैज हमीद अपने पद पर बने रहें। नदीम अंजुम को चीफ ऑफ़ आर्मी स्टाफ कमर जावेद बाजवा का करीबी बताया जाता है, लेकिन वह इमरान खान की पसंद नहीं हैं।