ब्यूरो,
लखनऊ
उत्तर प्रदेश के किसान अब अपने खेत को गोवंश से बचाने के लिए कंटीले तारों का प्रयोग नहीं कर सकते। अगर प्रयोग करते पाए गए तो उनको खिलाफ उदाहरणात्मक कार्रवाई की जाएगी। दरअसल प्रदेश की योगी सरकार गौ सेवा आयोग की अपील पर यह फैसला लिया है कि यूपी के किसान अपने खेतों में कंटीले तारों का प्रयोग नहीं कर सकते। विकल्प के तौर पर रस्सी का प्रयोग कर सकते है।
पशुपालन विभाग के अपर मुख्य सचिव डा रजनीश दुबे ने सभी जिलों के डीएम को इसके लिए पत्र जारी कर कहा कि इस आदेश का सख्ती से पालन करें। कोई किसान खेत में ब्लेड या कटीले तारों को लगाता है तो उसके खिलाफ पशु क्रूरता निवारण अधिनियम 1960 के तहत कार्रवाई की जाएगी।
प्रमुख सचिव ने अपने पत्र में कहा है कि गोवंश के उपचार के लिए जिला मुख्यालय पर एक पशु चिकित्सालय को 24 घंटे क्रियाशील किया जाए। वहां रोटेशन के आधार पर पशु चिकित्सक एवं अन्य स्टाफ की तैनाती की जाए।
बता दें कि गोवंश को कंटीले तारों से बचाने के 17 जुलाई 2017 से ही उप्र गो सेवा आयोग मुहीम कर कर रहा है और आयोग की बैठक में ऐसे तारों पर प्रतिबंध लगाने की कही गयी थी बात। जिसको लेकर अब योगी सरकार ने यह निर्णय दिया की किसान अब अपने खेत में कंटीले तार का प्रयोग नहीं कर पाएंगे।